उत्तराखण्ड

पैराडाइज पेपर्स के खुलासे से संकट में सरकार

नयी दिल्ली। ऐसे समय में जबकि सत्तारुढ़ भाजपा देश भर में काला धन विरोधी दिवस मनाने की तैयारी कर रही है उससे ठीक पहले पैराडाइज पेपर्स नाम से हुए खुलासे ने सरकार की परेशानी बढ़ा दी है। आईसीआईजे की ओर से कर चोरों के स्वर्ग माने जाने वाले देशों की कंपनियों से मिले दस्तावेजों की पड़ताल के बाद केंद्रीय राज्य मंत्री जयंत सिन्हा और भाजपा के राज्यसभा सांसद आर.के. सिन्हा की मुश्किलें बढ़ गयी हैं। हालांकि दोनों ने ही अपने-अपने बयानों में किसी भी अवैध आर्थिक गतिविधि में संलिप्त होने से इंकार किया है। जयंत सिन्हा ने कहा है कि मैंने मंत्री बनने से पहले ही उक्त फर्म से इस्तीफा दे दिया था। दूसरी ओर जब आर.के. सिन्हा से उनकी प्रतिक्रिया मांगी गयी तो उन्होंने 7 दिन के मौन व्रत का हवाला देते हुए कुछ भी कहने से इंकार कर दिया।

एक अंग्रेजी समाचार पत्र में प्रकाशित रिपोर्ट के मुताबिक, ‘सांसद बनने से पहले जयंत सिन्हा ओमिडयार नेटवर्क में बतौर मैनेजिंग डायरेक्टर काम करते थे। ओमिडयार नेटवर्क ने अमेरिकी कंपनी D.Light (डी डॉट लाइट) डिजाइन में निवेश कर रखा था। D.Light डिजाइन की एक शाखा केमैन आइलैंड में भी स्थित थी। विदेशी कानूनी सलाह देने वाली कंपनी एप्पलबी के दस्तावेज के अनुसार जयंत सिन्हा ने D.Light डिजाइन के डायरेक्टर के तौर पर भी सेवाएं दी थीं लेकिन अपने चुनावी हलफनामे में उन्होंने इसकी कोई जानकारी नहीं दी थी। रिपोर्ट के मुताबिक भारत में ओमिडयार नेटवर्क ने क्विकर, अक्षरा फाउंडेशन, अनुदीप फाउंडेशन, एस्पाइरिंग माइंड्स और हेल्थकार्ट में निवेश किया है।

जिन अन्य भारतीयों के नाम इस सूची में हैं उनमें बॉलिवुड के महानायक कहे जाने वाले अमिताभ बच्चन भी हैं। बच्चन के बरमूडा में एक कंपनी में शेयर्स होने का खुलासा हुआ है। उनका नाम इससे पहले पनामा पेपर्स में भी सामने आया था। भाजपा के राज्यसभा सांसद और कारोबारी आरके सिन्हा की कंपनी एसआईएस सिक्यॉरिटीज का नाम भी सूची में है। अभिनेता संजय दत्त की पत्नी मान्यता के पुराने नाम नाम दिलनशीं और लॉबिस्ट नीरा राडिया का भी इस सूची में जिक्र है।
रिपोर्ट में राजस्थान में अशोक गहलोत सरकार के दौरान हुए एंबुलेंस घोटाले का जिक्र करते हुए कहा गया है कि एप्पलबी ने मॉरीशस में एक कंपनी रजिस्टर करवाई थी जिसके संस्थापकों में पूर्व केंद्रीय मंत्री और वरिष्ठ कांग्रेस नेता व्यालार रवि के बेटे रवि कृष्णा भी थे। 2014 में राजस्थान पुलिस ने जब एंबुलेंस घोटाला मामले में शिकायत दर्ज की तो अशोक गहलोत, कार्ति चिदंबरम, सचिन पायलट और रवि कृष्णा पर भी आरोप लगाये गये थे।
भाजपा सांसद आर.के. सिन्हा के बारे में कहा गया है कि 2008 में SIS Asia Pacific Holdings Ltd (SAPHL) को माल्टा में रजिस्टर कराया गया जोकि SIS की सहायक कंपनी थी। SAPHL में सिन्हा के पास 1 ही शेयर था जबकि उनकी पत्नी रीता किशोर सिन्हा इसमें डायरेक्टर थीं। रिकॉर्ड कहते हैं कि ब्रिटिश वर्जिन आइलैंड से संबंधित कंपनी SIS International Holdings Limited (SIHL) के पास SAPHL के 3,999,999 शेयर थे।
रिपोर्ट में कहा गया है कि जब वीरप्पा मोइली संप्रग सरकार में केंद्रीय मंत्री थे तब उनके बेटे हर्षा मोइली की कंपनी को बाहर से काफी निवेश मिला। रिपोर्ट में फोर्टिस-एस्कॉर्ट्स के चेयरमैन डॉ. अशोक सेठ का भी नाम है जिन्हें सिंगापुर की एक स्टेंट बनाने वाली कंपनी के शेयर दिये गये। डॉ. सेठ को पद्म भूषण और पद्मश्री सम्मान से सम्मानित किया जा चुका है। सूची में कुल 714 भारतीयों के नाम बताये जा रहे हैं।

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