उत्तराखंड के 11235 बूथों पर होगी करीब ढाई लाख पन्ना प्रमुखों की तैनाती
देहरादून। देश के विभिन्न राज्यों के विधानसभा चुनावों में पन्ना प्रमुखों के प्रयोग को मिली सफलता से उत्साहित भाजपा इसे लोकसभा चुनाव में भी धरातल पर उतारने जा रही है। इस कड़ी में उत्तराखंड के 11235 बूथों पर भी करीब ढाई लाख पन्ना प्रमुखों की तैनाती की जा रही है, जिनके कंधों पर बड़ा दारोमदार रहेगा।
उत्तराखंड में लोकसभा चुनाव के मद्देनजर भाजपा अभी तक 70 फीसद पन्ना प्रमुखों की तैनाती कर चुकी है। पार्टी का प्रयास है कि लोस चुनाव की नामांकन प्रक्रिया शुरू होने से पहले यह कार्य हर हाल में पूरा करा लिया जाए। प्रत्येक बूथ की वोटर लिस्ट के हर पन्ने की जिम्मेदारी पन्ना प्रमुख की होगी।
सियासी नजरिये से देखें तो भाजपा के लिए राज्य की पांचों लोकसभा सीटें खासी अहमियत रखती हैं। इनमें भाजपा के सामने पिछला प्रदर्शन दोहराने की चुनौती है। 2014 के चुनाव में भाजपा ने पांचों सीटों पर परचम लहराया था। इसे देखते हुए भाजपा कोई रिस्क लेने के मूड में नहीं है।
यही कारण भी है कि पार्टी को बूथ स्तर तक सक्रिय करने के बाद अब हर बूथ पर पन्ना प्रमुख भी तैनात किए जा रहे हैं। हर पोलिंग बूथ की मतदाता सूची के एक पन्ने की जिम्मेदारी एक कार्यकर्ता को दी जा रही है, जिसे पन्ना प्रमुख नाम दिया गया है। वह अपने पन्ने के वोटरों से न सिर्फ लगातार संपर्क में रहेगा, बल्कि वे मतदान के दिन पोलिंग बूथ तक पहुंचे इसकी चिंता भी करेगा।
साफ है कि लोस चुनाव में भाजपा के लिए पन्ना प्रमुखों की भूमिका महत्वपूर्ण रहने वाली है। यही कारण भी है कि भाजपा पूरी जांच-परख के बाद अपनी बूथ कमेटियों के सदस्यों को यह जिम्मेदारी सौंप रही है।
भाजपा सूत्रों के अनुसार एक बूथ की एक वोटर लिस्ट में औसतन 20 पन्ने होते हैं। इस लिहाज से देखें तो एक वोटर लिस्ट पर औसतन 20 पन्ना प्रमुख हैं और सभी बूथों को मिलाकर इनकी संख्या ढाई लाख के करीब रहेगी।
अभी तक 70 फीसद पन्ना प्रमुख तैनात किए जा चुके हैं। साथ ही पन्ना प्रमुखों को निर्देश दिए गए हैं कि वे अपने-अपने पन्ने के मतदाताओं से निरंतर संपर्क में रहें। पार्टी सूत्रों ने बताया कि पन्ना प्रमुखों को बूस्टअप करने का कार्यक्रम भी निर्धारित किए जा रहे हैं। कोशिश ये है कि सभी लोस क्षेत्रों के पन्ना प्रमुखों की बड़ी बैठकें कर उनमें पार्टी के बड़े नेता उनका मार्गदर्शन करें।