उत्तराखण्ड

मुख्य सचिव राधा रतूड़ी ने जिलाधिकारियों को सीमांत जिलों में शिक्षा और स्वास्थ्य क्षेत्र में विशेषरूप से फोकस करने के दिए निर्देश

मुख्य सचिव राधा रतूड़ी ने सीमांत जिले चमोली, ऊधमसिंहनगर, चंपावत व पिथौरगढ़ के जिलाधिकारियों को महिला स्वयं सहायता समूहों की योजनाओं के तहत महिलाओं के लिए वित्तीय साक्षरता को अनिवार्य करने के निर्देश दिए। उन्होंने हिदायत दी कि वे सीमांत गांवों में अवस्थापना विकास के साथ ही कौशल विकास, आजीविका प्रशिक्षण एवं मानव संसाधन विकास पर ज्यादा फोकस करें।

निर्माण कार्यों के प्रस्ताव बनाकर मात्र औपचारिकताओं को पूरा न समझे बल्कि प्रोजेक्ट्स के निरंतर सफल संचालन के लिए लगातार काम करें। उन्होंने सीमांत जिलों में शिक्षा और स्वास्थ्य क्षेत्र में विशेषरूप से फोकस करने के निर्देश दिए। विधानसभा भवन में बुधवार को मुख्यमंत्री सीमांत क्षेत्र विकास कार्यक्रम विकास तथा मुख्यमंत्री पलायन रोकथाम योजना की राज्य स्तरीय स्क्रीनिंग कमेटी की

बैठक में मुख्य सचिव राधा रतूड़ी ने जिलाधिकारियों को जिलों में संचालित हर योजना के आउटकम मॉनिटरिंग की सख्त नसीहत दी है। उन्होंने बैंकों को भी पत्र लिखने के निर्देश दिए। सीएस ने सभी योजनाओं को व्यक्तिगत स्तर की अपेक्षा महिला स्वयं सहायता समूहों के माध्यम से संचालित करने को कहा। उन्होंने प्रत्येक प्रस्ताव, प्रोजेक्ट या योजना में कितने रोजगार सृजित होंगे, इसकी जानकारी भी देने के निर्देश दिए।

मुख्य सचिव ने विभिन्न योजनाओं की डुप्लीकेसी के प्रति भी सतर्क रहने को कहा। उन्होंने निर्देश दिए कि सभी योजनाओं को भलीभांति परीक्षण किया जाना चाहिए ताकि दो योजनाएं एक दूसरे को आच्छादित न करें। बैठक में सचिव राधिका झा, अपर सचिव विजय कुमार जोगदण्डे, मनुज गोयल, रंजना राजगुरू सहित ग्राम्य विकास विभाग, शिक्षा, स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी उपस्थित थे। जिलाधिकारी वर्चुअल माध्यम से जुड़े थे।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button