राजनीतिक

तीन तलाक होगा गैर जमानती अपराध

नई दिल्ली। एक बार में तीन तलाक को संज्ञेय और गैर जमानती अपराध बनाने के लिए केंद्र सरकार गुरुवार को लोकसभा में विधेयक पेश करने जा रही है। प्रस्तावित विधेयक में एक बार में तीन तलाक देने वाले पति को तीन साल तक की कैद और जुर्माने का प्रावधान है। यह कानून जम्मू-कश्मीर को छोड़कर पूरे देश में लागू होगा।

-एक बार में तीन तलाक होगा गैर जमानती अपराध
-तीन साल तक की कैद और जुर्माने का होगा प्रावधान

सुप्रीम कोर्ट ने गत 22 अगस्त को एक बार में तीन तलाक (तलाक-ए-बिद्दत) के चलन को निरस्त कर दिया था। इसके बावजूद लगातार तीन तलाक की घटनाएं हो रही थीं। इसके मद्देनजर प्रधानमंत्री ने नए कानून पर विचार करने के लिए मंत्रिमंडलीय कमेटी का गठन किया था। इसमें राजनाथ सिंह, सुषमा स्वराज, अरुण जेटली, रविशंकर प्रसाद, पीपी चौधरी और डाक्टर जितेंद्र सिंह शामिल थे। पिछले दिनों कैबिनेट ने विधेयक को मंजूरी दे दी थी।

ऐसा होगा नया कानून
– तीन तलाक पर प्रस्तावित कानून का नाम मुस्लिम वुमेन प्रोटेक्शन आफ राइटस आन मैरिज होगा
– यह कानून सिर्फ एक साथ एक बार में तीन तलाक यानी तलाक ए बिद्दत के मामलों में ही लागू होगा
– अगर कोई पति अपनी पत्नी को एक बार में तीन तलाक देता है तो वह गैर कानूनी होगा
– एक बार में तीन तलाक हर रूप में गैरकानूनी होगा चाहे वो लिखित हो, बोला गया हो या फिर इलेक्ट्रॉनिक रूप में हो
– जो भी व्यक्ति अपनी पत्नी को एक बार में तीन तलाक देगा उसे तीन साल तक की कैद और जुर्माने की सजा होगी
– अपराध संज्ञेय और गैर जमानती होगा। मुकदमे का क्षेत्राधिकार मजिस्ट्रेट की अदालत होगी
– तीन तलाक पीडि़ता मजिस्ट्रेट की अदालत में गुजारा भत्ता और नाबालिग बच्चों की कस्टडी की मांग कर सकती है।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button